Thursday, January 22, 2009

जबलपुर हिन्दी ब्लॉगर्स मीट की रिपोर्ट

विगत १९ जनवरी २००९ को जबलपुर ब्लॉगर्स मीट का आयोजन 'होटल रुपाली इन' जबलपुर में किया गया. कार्यक्रम में जबलपुर के हिन्दी ब्लॉगर्स ने शिरकत की. कार्यक्रम के मुख्य अथिति ’विश्व के सर्वाधिक लोकप्रिय हिन्दी ब्लॉगर के सम्मान" से नवाजे गये कनाडा से पधारे श्री समीर लाल रहे, जो अपना ब्लॉग ’उड़न तश्तरी’ के नाम से लिखते हैं.

स्वागत भाषण श्री गिरीश बिल्लोरे ’मुकुल’ ने दिया एवं उन्होंने हिन्दी ब्लॉगिंग के प्रसार एवं प्रसार में जबलपुर के ब्लॉगर्स का योगदान एवं भावी योजनाओं पर प्रकाश डाला.

अपने उदबोधन आख्यान में श्री समीर लाल, जिनका गृह नगर जबलपुर ही है एवं जो पेशे से चार्टर्ड एकाउन्टेन्ट हैं, ने जबलपुर में हिन्दी ब्लॉगर्स की बढ़ती संख्या एवं इसके प्रति लोगों के बढ़ते रुझान पर प्रसन्नता जाहिर करते हुए कहा कि जब मैने २००६ मार्च में हिन्दी ब्लॉगिंग शुरु की थी, तब विश्व भर में अंतर्जाल (इन्टरनेट) पर हिन्दी ब्लॉगर्स की संख्या मात्र एक सैकड़ा थी. आज सबके अथक प्रयास एवं इसके प्रसार के लिए किए जा रहे सार्थक प्रयासों से यह संख्या मात्र ३ साल से भी कम समय में ६००० से ज्यादा हो चुकी है. उन्होंने विश्वास व्यक्त किया कि २०१० के अंत तक इस संख्या को आप ५०००० के पार देखेंगे और तब हिन्दी ब्लॉगिंग से आय का एक नया आयाम खुलेगा.

हिन्दी ब्लॉगिंग के विषय में बोलते हुए उन्होंने कहा कि ब्लॉग याने चिट्ठा अंतरजाल (इन्टरनेट) पर पिछले एक दशक में चर्चित हुआ. यह एक ऐसा माध्यम है, जो आपको अभिव्यक्ति की पूर्ण स्वतंत्रता देता है.आप अपने दिल के भाव, विचार या एकत्रित जानकारी को अपने चिट्ठे पर, बिना किसी संपादकीय हस्तक्षेप या काट छांट के, अविलम्ब छाप सकते हैं एवं तत्क्षण विश्व के कोने कोने तक अपनी बात पहुँचा सकते हैं.ब्लॉग आपके पाठकों को आपकी द्वारा छापी गई सामग्री पर अपनी प्रतिक्रिया दर्ज करने की सुविधा भी उपलब्ध कराता है, जिसके द्वारा लेखक या चिट्ठाकार एवं उसके पाठकों के बीच एक सहज वैचारिक एवं परस्पर वार्तालाप के संबंध स्थापित हो जाता है.

उन्होंने यह भी बताया कि गुगल का ब्लॉगर्स, वर्ड प्रेस आदि ऐसी अनेकों साईटस अंतरजाल पर हैं जो आपको मुफ्त में ब्लॉग बनाने की सुविधा उपलब्ध कराती हैं. यह आपको अनगिनत पन्नों की जगह उपलब्ध कराते हैं, चाहे जितना मन आये, लिखिये. पूरी की पूरी किताब लिखिये और छापिये मगर जगह आपको कम नहीं पड़ेगी. अंतरजाल पर ही बारहा (Baraha.exe) जैसे अनेकों औजार उपलब्ध हैं जिनके सहारे आप आसानी से, जिस तरह आप अंग्रेजी या रोमन में टंकण करते हैं, वैसे ही हिन्दी में भी टंकण कर सकते हैं. यह इतना आसान है कि मानिये आपको हिन्दी में ’कमल’ लिखना है तो आपको बस 'kamala" ही टंकित करना होगा.

उन्होंने आगे बताया कि इस ब्लॉगिंग की ताकत को लोगों ने पहचाना है और आज अमिताभ बच्चन, मनोज बाजपेयी, मिडिया से जुड़े पुण्य प्रसन्न बाजपेयी, शितल राजपूत, कवि श्रेष्ठ कुँवर बैचेन, अशोक चक्रधर, साहित्यकार उदय प्रकाश, गीत चतुर्वेदी जैसे नाम इससे जुड़े हैं और नियमित ब्लॉग लिख रहे हैं. कालेज के छात्रों से लेकर गृहणियों, पत्रकारों से लेकर शौकिया लेखकों तक आज यह अभिव्यक्ति का स्वतंत्र माध्यम अपनी पहुँच बना चुका है.

अपने उदबोधन को विराम देते हुए उन्होंने सभी उपस्थित ब्लॉगर्स से आह्वाहन किया कि वो हर माह मात्र एक नया ब्लॉग खोलने के लिए एक नये व्यक्ति को जोड़ें, जो कि एक बहुत सरल काम है. आगे उन्होंने लोगों को विश्वास दिलाया कि इसके गुणात्मक प्रभाव से एक दिन अंग्रेजी से आगे हिन्दी इन्टरनेट पर राज करेगी.

कार्यक्रम में जबलपुर के हिन्दी ब्लॉगर्स श्री विवेक रंजन श्रीवास्तव, श्री राजेश दुबे, श्री ’बवाल’, श्री संजय तिवारी, श्री आनन्द कृष्ण, सुश्री शैली खत्री आदि की उपस्थिति उल्लेखनीय रही एवं उनकी अनेकों जिज्ञासाओं का निराकरण श्री समीर लाल ने किया. अनेकों सुझावों और प्रस्तावों के साथ कार्यक्रम रात्रि भोज के साथ सम्पन्न हुआ.

जबलपुर ब्लॉगर मीट

एवं

समीर जी ज्ञापन पर नज़रे इनायत

(नोट: अखबार में प्रेषित रिपोर्ट)

Wednesday, January 21, 2009

बस यूँ ही

भाई समीर लाल जी के प्रोत्साहन पर यह ब्लॉग शुरु किया है. आज ही ब्लॉगवाणी और चिट्ठाजगत पर पंजीकृत करा टेस्ट कर रहा हूँ. अपना स्नेह बनाये रखें.

Monday, January 19, 2009

पहला संदेशा

यह मेरी हिन्दी चिट्ठाजगत में पहली प्रविष्टी है. आपके सहयोग का आकांक्षी हूँ.